सूत्रों का दावा भाजपा के नौ विधायकों के इस्तीफा पर हस्ताक्षर….?

प्रदेश में पिछले तीन दिनों से चल रही राजनीतिक उठाफटक पर आज विराम लग सकता है। बीते तीन दिनों से अज्ञातवास में  बताए जा रहे कांग्रेस सरकार समर्थक चारों विधायक आज राजधानी भोपाल लौट रहे हैं। वे  सीधे मुख्यमंत्री से मुलाकात करने वाले हैं। बताया जा रहा है की  विधायक सुरेन्द्र सिंह शेरा बेंगलुरु से दिल्ली पहुंच गए हैं, वहां से वे नियमित फ्लाइट द्वारा भोपाल आ रहे हैं।  इस पूरे सियासी नौटंकी की बागडोर स्वयं मुख्यमंत्री कमलनाथ और पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह ने कमान अपने हाथ में ले ली है। इसके बाद से ही तेजी से हालात बदल चुके  हैं। मुख्यमंत्री कमलनाथ और श्री दिग्विजय सिंह नाराज चल रहे विधायकों के अलावा पार्टी और सरकार को समर्थन देने वाले निर्दलीय, बसपा और सपा विधायकों से कई दौर की मुलाक़ात कर चुके है और सब ठीक होगा का आश्वासन दिए गए हैं।मेल मुलाकातों का दौर अब भी बना हुआ है

जानकार सूत्र बताते है कि वहीं दूसरी तरफ भाजपा द्वारा कांग्रेस के विधायक के इस्तीफा कराए जाने के दांव के प्रतिउत्तर में कांग्रेस ने भी भाजपा के नौ विधायकों के इस्तीफा पर हस्ताक्षर करा लिए हैं। हालांकि इसकी पुष्टि कोई नहीं कर रहा है। उधर भाजपा में भी मंथन को दौर जारी है। पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान और नरोत्तम मिश्रा अभी भी दिल्ली में डेरा डाले हुए हैं। उधर इस पूरे घटनाक्रम को लेकर तरह-तरह की चर्चाओं का दौर अब भी जारी है। हालांकि इस बीच मुख्यमंत्री निवास से निकलते समय मुख्यमंत्री कमलनाथ ने मीडिया के सामने विजेता होने के संकेत कुटिल मुस्कुराहट देकर मामले को और पैचीदा कर दिया है की आने बाले समय में दोनों ही दलो के विधायको में भारी उलट फेर हो सकता है..?

शिवराज-नरोत्तम की नड्डा से बैठक :- प्रदेश भाजपा के नेता पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान, पूर्व मंत्री नरोत्तम मिश्रा, भूपेन्द्र सिंह समेत तमाम नेताओं ने दिल्ली में केंद्रीय मंत्रीद्वय नरेंद्र सिंह तोमर, प्रहलाद पटेल के साथ बैठक की। इससे पहले यह नेता भाजपा अध्यक्ष जेपी नड्डा एवं केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह के साथ भी लंबी बैठक कर चुके हैं। इन बैठकों को भाजपा के ऑपरेशन लोटस से जोडक़र देखा जा रहा है। सूत्रों के अनुसार बैठकों में मप्र की घटनाक्रम पर तो चर्चा हुई पर मुख्यरूप से राज्यसभा प्रत्याशियों के नामों पर विचार हुआ। नेताओं ने दूसरी सीट के लिए ऐसे नाम पर मंथन किया जो सपा बसपा, निर्दलीय के साथ कुछ कांग्रेस विधायकों के भी वोट लेने की क्षमता रखता हो।