रिश्वत लेते रंगे हाथ पकडाया पटवारी ..

पटवारी का नाम जहन में आते ही एक भ्रष्ट, रिश्वतखोर और हर काम के लिए तंगाने ,अडंगा लगाने वाले व्यक्ति की छवि सामने आती है ! रिश्वतखोरो ने पटवारी शब्द को ही कलंकित कर रहा है ,वरना पटवारी ही वह मास्टर चाबी है जो राजस्व अमले को संचालित संधारित करने में अपनी महती भूमिका निभाते हैं ! परन्तु आधुनिक समाज और विलासिता का जीवन जीने की चाह ने इन्हें आपने पदीय दायित्व से पथभ्रष्ट कर दिया है ! अब यह समाज की वह नासूर बीमारी बन गए है जिन्हें भ्रष्ट नौकरशाही और राजनेताओं के संरक्षण में पालीत पोषित किया है …

आज एक पटवारी को लोकायुक्त की टीम ने 30 हजार रिश्वत लेते हुए रंगे हाथ गिरफ्तार किया । पटवारी एक किसान से पावती और नकल के लिए 30 हजार की रिश्वत मांग रहा था। लोकायुक्त निरीक्षक राजेंद्र वर्मा के मुताबिक पटवारी संतोष चौबे नीमच के जयसिंहपुरा गांव के एक किसान लालाराम जाटव पिता भेरूलाल से रिश्वत मांग रहा था।

किसान ने इसकी शिकायत लोकायुक्त पुलिस अधीक्षक उज्जैन को लिखित में की थी कि पटवारी उसकी जमीन का सीमांकन एवं पावती बनाने की एवज में ढाई लाख रूपये की रिश्वत मांग रहे है। इस पर लोकायुक्त पुलिस अधीक्षक के निर्देशन में ट्रैप की टीम का गठन किया गया और नीमच जिले के ग्राम जयसिंहपुरा पहुंचक पटवारी संतोष चौबे को 30 हजार रूपये की रिश्वत लेते रंगे हाथों पकड़ लिया। दरअसल किसान लालाराम नीमच स्थित अपनी 4 बीघा ज़मीन बेचना चाहता था परंतु मौके पर एक ज़मीन कम निकल रही थी,

आवेदक जब ज़मीन की नपती के लिए पटवारी से मिला तो उसने नपती करने व पावती बनाने के लिए आवेदक से ढाई लाख की माँग की तथा पटवारी द्वारा आवेदक से एक लाख रुपए ले लिए और डेढ़ लाख की ओर माँग की जिसमे एक लाख बीस हज़ार नपती व तीस हज़ार पावती के नाम पर मांग की जा रही थी, जिसमें वह आज वह पावती के लिए 30 हजार की रिश्वत लेते गिरफ्तार हो गया।पुलिस अधीक्षक लोकायुक्त उज्जैन अनिल विश्वकर्मा के निर्देशन में निरीक्षक राजेंद्र वर्मा और टीम- निरीक्षक रविंद्र पाराशर , आरक्षक संजय पटेल , नीरज , विशाल , अनिल व सुनीता द्वारा आवेदक से पावती के तीस हज़ार लेते उसके घर पर रंगे हाथों पकड़ा गया।