प्रदेश के कर्मचारियों की पेंशन बहाली की मांग ..

बीते दिनों राजस्थान की अशोक गहलोत सरकार ने एक जून 2005 के पहले की पेंशन व्यवस्था को लागू करने के फैसले के बाद अलग अलग राज्यों में इसकी बहाली की मांग उठने लगी है। आगामी चुनावों से पहले मध्य प्रदेश में भी इस मांग ने जोर पकड़ लिया है..

कांग्रेस विधायक और पूर्व मंत्री जयवर्धन सिंह के बाद अब मैहर से बीजेपी विधायक नारायण त्रिपाठी  ने सीएम शिवराज सिंह चौहान को पत्र लिखकर पुरानी पेंशन बहाल करने के लिए कदम उठाने की मांग की है।उन्होंने लिखा है कि पुरानी पेंशन योजना को लागू किया जाए। इससे कर्मचारियों के आर्थिक हित सुरक्षित होगा।

मध्य प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री और पीसीसी चीफ कमलनाथ ने भी ट्वीट कर मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान से पुरानी पेंशन बहाली की मांग की है। कमलनाथ ने अपने ट्वीट में लिखा कि शिवराज सरकार भी प्रदेश के कर्मचारियों के हित में 1 जून 2005 से पहले की पुरानी पेंशन प्रणाली फिर से लागू करे।इससे पहले पूर्व मंत्री जयवर्धन सिंह समेत कई कांग्रेस नेता भी मांग उठा चुके है।

ज्ञात हो कि लंबे समय से मध्य प्रदेश में पुरानी पेंशन की बहाली को लेकर मांग उठाई जा रही है। 286000 शिक्षक, डेढ़ लाख संविदाकर्मी और 48000 स्थाईकर्मी कई बार अंशदायी पेंशन की जगह पुरानी पेंशन बहाल करने की मांग कर चुके है। अंशदायी पेंशन में 10% कर्मचारियों की सैलरी से काटा जाता है और 14% सरकार मिलाती है और फिर कर्मचारी के सेवानिवृत्त होने पर 50% का भुगतान एकमुश्त कर दिया जाता है और शेष राशि से 3-4 हजार पेंशन के रूप में दी जाती है। यही कारण है कि कर्मचारियों द्वारा पुरानी पेंशन व्यवस्था लागू करने पर जोर दिया जा रहा है ! मिडिया रिपोर्ट